The Lallantop
लल्लनटॉप का चैनलJOINकरें

इंजीनियरिंग: IIT और NIT में क्या अंतर है?

JEE के जरिए IIT, NIT समेत देश के अलग-अलग इंजीनियरिंग इंस्टीट्यूट्स में एडमिशन मिलता है. लेकिन जिन इंस्टीट्यूट्स में एडमिशन के लिए सबसे ज्यादा होड़ होती है वो हैं IIT और NIT.

post-main-image
IIT और NIT दोनों जगह, JEE के जरिए ही एडमिशन मिलता है. (फोटो- India Today)

JEE यानी जॉइंट एंट्रेंस एग्जाम. इस परीक्षा के जरिए IIT (Indian Institute of Technology), NIT (National Institute of Technology) समेत देश के अलग-अलग इंजीनियरिंग इंस्टीट्यूट्स में एडमिशन मिलता है. लेकिन जिन इंस्टीट्यूट्स में एडमिशन के लिए सबसे ज्यादा होड़ होती है वो हैं IIT और NIT. दोनों राष्ट्रीय महत्व के यानी ऑल इंडिया लेवल के संस्थान हैं. लेकिन दोनों में काफी अंतर होता है. आज हम IIT और NIT के अंतर (differences between IIT and NIT) के बारे में बात करेंगे. 

# एडमिशन का तरीका

NITs में एडमिशन के लिए JEE Main परीक्षा को क्वलिफाई करना होता है. ये परीक्षा NTA यानी नेशनल टेस्टिंग एजेंसी के द्वारा आयोजित कराई जाती है. परीक्षा के बाद प्रत्येक NIT अपनी कट-ऑफ जारी करते हैं. अगर आप वो कट-ऑफ क्वलिफाई करते हैं तो आप एडमीशन के लिए एलिजिबल होंगे. वहीं अगर आपको IITs में एडमीशन लेना है तो JEE की मेन और एडवांस दोनों परीक्षा क्वलिफाई करनी होंगी.

लल्लनटॉप को और करीब से जानें.

# एजुकेशन क्वालिटी

देश के उच्च शिक्षण संस्थान होने के बावजूद IIT और NIT की एजुकेशन क्वालिटी में अंतर पाया जाता है. जैसे- IIT में इंफ्रास्ट्रकचर, कोर्स और बाकी फैसिलिटीज अपग्रेडेड रहती हैं. यानी आधुनिक तौर तरीकों पर आधारित रहती हैं. समय के साथ बदलती भी रहती हैं. जबकि IITs के मुकाबले NIT का इंफ्रास्ट्रकचर और करिकुलम थोड़ा सा पीछे रहता है. हालांकि पिछले कुछ समय में इस ट्रेंड में बदलाव दिखा है. NIT भी बदलते दौर के हिसाब से अपने करिकुलम में बदलाव कर रही हैं.

#कोर्सेज 

वैसे तो देश के IITs और NITs बहुत सारे कोर्सेज ऑफर करते हैं. अंडरग्रेजुएट लेवल से लेकर पोस्ट-ग्रेजुएट और पीएचडी तक बहुत सारे कोर्स यहां से किए जा सकते हैं. पर IIT में पोस्ट-ग्रेजुएट लेवल पर कुछ कोर्स है जो NIT में नही होते. उदाहरण के लिए पोस्ट-ग्रेजुएट डिप्लोमा इन इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी (PGDIT) और पोस्ट-ग्रेजुएट डिप्लोमा इन मेरीटाइम ऑपरेशन (PGDMOM) जैसे कोर्स NIT में नहीं होते हैं.

#सीट्स में अंतर

IIT को देश का टॉप इंजीनियरिंग इंस्टीट्यूट माना जाता है. देश में इस वक्त कुल 23 IIT मौजूद हैं. इन 23 IIT में अंडरग्रेजुएट कोर्स के लिए कुल 16 हजार 234 सीट हैं. वहीं बात अगर NIT की करें तो देश में कुल  31 NIT मौजूद हैं. अंडरग्रेजुएट कोर्स के लिए NIT में कुल 23 हजार 997 सीट उपलब्ध हैं. 

#इंफ्रास्ट्रकचर 

IIT और NIT जाने का सपना देखने वालों के बीच इनके कैंपस की खूब चर्चा रहती है. इंफ्रास्ट्रक्चर के मामले में भी दोनों जगहों में अंतर पाया जाता है. NIT की अगर बात करें तो सबसे बड़ा कैंपस NIT त्रिची का है. ये कैंपस 800 एकड़ में बना हुआ है. वहीं अगर IIT के इंफ्रास्ट्रक्चर की बात करें तो सबसे बड़ा कैंपस IIT खड़गपुर का है. ये 2100 एकड़ में फैला हुआ है. यहां बता दे कि चार IIT ऐसे हैं जिनका कैंपस, NIT त्रिची से बड़ा है. अगर पढ़ाई के साथ-साथ कैंपस का फील भी लेना है तो IIT आपके लिये बेहतर विकल्प हो सकते हैं.  

#प्लेसमेंट 

आमतौर पर IIT में पढ़ने वाले स्टूडेंट्स का एवरेज प्लेसमेंट, NIT के स्टूडेंट्स के मुकाबले बेहतर होता है. लेकिन कुछ NIT ऐसे भी हैं जो हर साल IIT को पीछे छोड़ देते हैं और सबसे अच्छे पैकेज की दौड़ में आगे लिकल जाते हैं. 

तो ये हो गई IIT और NIT के बीच के अंतरों की बात. लेकिन एक बात का ध्यान आपको जरूर रखना होगा कि दोनों संस्थानों में एडमिशन के लिए आपको JEE की परीक्षा को पास करना होगा. 

रंगरूट. दी लल्लनटॉप की एक नई पहल. जहां आपको खबर मिलेगी पढ़ाई-लिखाई, कॉलेज-यूनिवर्सिटी, कैंपस से लेकर प्लेसमेंट और करियर तक की. सरकारी भर्तियों का हाल भी और स्टार्ट अप्स की कहानियां भी यहीं मिलेंगी. अपने सुझाव और सवाल हमें लिखिए rangroot@lallantop.com पर. रंगरूट से जुड़ने के लिए यहां क्लिक करें.फेसबुकयूट्यूबट्विटर