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'भेड़िया' ट्रेलर देखकर जनता 'आदिपुरुष' को ट्रोल क्यों करने लगी?

लोग दोनों फिल्मों के बजट और VFX के बीच ज़मीन-आसमान का फर्क बता रहे हैं.

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'भेड़िया' को इंडिया की पहली क्रीचर कॉमेडी बताया जा रहा है.

बचपन में हम सबने मोगली की कहानी सुनी. एक इंसानी बच्चा जिसे भेड़िये उठा कर ले जाते हैं. पालते-पोसते हैं. बड़ा करते हैं. वो भेड़िये सच्चे मन के थे. लेकिन सोचिए अगर केस ऐसा नहीं होता तो. मोगली को जंगल ले जाते. इधर-उधर अपने दांत गड़ा देते. या काट जाते. फिर मोगली का क्या होता. वरुण धवन की फिल्म ‘भेड़िया’ की कहानी कुछ ऐसी ही है. फिल्म का ट्रेलर आया है. जहां वरुण के किरदार भास्कर को एक भेड़िया काट जाता है. 

भास्कर मरता नहीं. बस उसमें अजीब किस्म की शक्तियां आ जाती हैं. भेड़िये की तरह सूंघने की शक्ति तीव्र हो जाती है. हल्की-से-हल्की आवाज़ सुनाई देने लगती है. मसला ये है कि भास्कर इसका इलाज करना चाहता है. उसे फिर से नॉर्मल होना है. लेकिन डॉक्टर अनिका बनी कृति सैनन उसकी इन शक्तियों को एक ज़िम्मेदारी बताती है. ट्रेलर में अभिषेक बैनर्जी, दीपक डोबरियाल और पालिन कबक भी नज़र आते हैं. जो ह्यूमर ऐड करने का काम करते हैं. 

‘भेड़िया’ को बनाया है अमर कौशिक ने. जो इससे पहले ‘स्त्री’ और ‘बाला’ जैसी फिल्में भी डायरेक्ट कर चुके हैं. ‘बाला’ के राइटर रहे निरेन भट्ट ने ही ‘भेड़िया’ की कहानी लिखी है. अमर कौशिक की नई फिल्म की कहानी ‘स्त्री’ और ‘रूही’ के यूनिवर्स में ही घटेगी. बताया जा रहा है कि ये इंडिया की पहली क्रीचर कॉमेडी फिल्म है. यानी जहां किसी जीव के इर्द-गिर्द रची कहानी में कॉमेडी हो. इंडिया में पहले भी क्रीचर को लेकर फिल्में बनी हैं. लेकिन अपने VFX की वजह से वो हॉरर फिल्में कॉमेडी में तब्दील हो गई. लेकिन ‘भेड़िया’ को देखकर लग रहा है कि यहां हंसी वही आएगी जहां मेकर्स निकलवाना चाहते हैं. मतलब VFX मज़ाक का विषय नहीं बनेंगे. 

एक विदेशी कंपनी है, मूविंग पिक्चर कंपनी के नाम से. ये कंपनी फिल्मों और टीवी सीरीज़ के लिए विजुअल इफेक्ट, एनिमेशन और CGI बनाने का काम करती है. इन्होंने ‘टॉप गन: मैवेरिक, ‘द जंगल बुक’, ‘द लायन किंग’ और ‘गॉडज़िला वर्सेज़ कॉन्ग’ जैसी हॉलीवुड फिल्मों के लिए विजुअल इफेक्ट डिज़ाइन किए हैं. मूविंग पिक्चर कंपनी यानी MPC ने ही ‘भेड़िया’ के विजुअल इफेक्ट्स पर काम किया है. ट्रेलर आने के बाद लोग फिल्म के VFX की तारीफ कर रहे हैं. कह रहे हैं कि सीमित बजट में भी इतना बढ़िया काम किया है. लेकिन ‘भेड़िया’ की तारीफ के साथ ही ‘आदिपुरुष’ को भी याद कर रहे हैं. दोनों फिल्मों के VFX की तुलना कर रहे हैं. 

एक ट्विटर यूज़र ने लिखा,

भेड़िया दर्शाती है कि आपको VFX के लिए कई सौ हज़ारों करोड़ रुपए फूंकने की ज़रूरत नहीं. अगर आप स्मार्ट तरीके से काम करें तो सीमित बजट समस्या नहीं बन सकती. 

दूसरे यूज़र ने लिखा,

मैं किसी को ट्रोल नहीं कर रहा. लेकिन बड़े बजट की फिल्म बनाते समय ज़िम्मेदार रहिए. 100 करोड़ के बजट पर बनी भेड़िया का VFX 500 करोड़ रुपए में बनी आदिपुरुष के VFX से कई गुना बेहतर है. दोनों बॉलीवुड फिल्में हैं, फर्क देख लीजिए. डायरेक्टर का विज़न मायने रखता है. 

रवि आहूजा नाम के यूज़र ने लिखा,

ये फिल्म सच में आदिपुरुष के निराशाजनक VFX पर हंसती है. हॉलीवुड लेवल CGI वो भी कम बजट पर बनी बॉलीवुड फिल्म से. 

मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो ‘भेड़िया’ को करीब 100 करोड़ रुपए के बजट पर बनाया गया है. वही ‘आदिपुरुष’ के लिए मेकर्स ने 500 करोड़ रुपए लगा दिए. ‘आदिपुरुष’ का टीज़र आने के बाद VFX को काफी ट्रोल किया गया था. लोग बजट पर सवाल उठा रहे थे. यही ट्रोलिंग अब ‘भेड़िया’ का ट्रेलर आने के बाद बढ़ गई है. बता दें कि ‘भेड़िया’ 25 नवंबर को सिनेमाघरों में रिलीज़ होगी. हिंदी के साथ इसे तमिल और तेलुगु में भी रिलीज़ किया जाएगा.   

वीडियो: आदिपुरुष टीज़र पर प्रेम सागर ने क्या कहा?