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विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र में चीन और पाकिस्तान को जमकर सुना डाला!

विदेश मंत्री ने रूस-यूक्रेन संघर्ष को लेकर कहा कि भारत सिर्फ बातचीत का पक्षधर है.

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संयुक्त राष्ट्र में एस. जयशंकर (साभार: आजतक)

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र जनरल असेंबली (UNGA) में चीन और पाकिस्तान पर निशाना साधा. जयशंकर ने चीन का नाम लिए बिना उसे घोषित आतंकियों को ब्लैकलिस्ट करने में अड़ंगा लगाने को लेकर भी कड़ा संदेश दिया. वहीं पाकिस्तान का भी नाम लिए बिना सीमा पार आतंक को लेकर उसे जमकर घेरा. 

एस जयशंकर ने कहा, 

“संयुक्त राष्ट्र आतंकियों को प्रतिबंधित करता है और आतंक के प्रायोजक देश उन्हें बचाने के लिए आगे आ जाते हैं. जो लोग घोषित आतंकियों का बचाव कर राजनीति करते हैं, मेरा विश्वास करिये, ऐसा करके वे देश न तो अपने हितों को आगे बढ़ाते हैं और न ही वास्तव में अपनी प्रतिष्ठा को आगे बढ़ाते हैं.”

Pakistan को घेरा

विदेश मंत्री ने आतंकवाद को लेकर पाकिस्तान को सख्त संदेश देते हुए संयुक्त राष्ट्र के 1267 रिजॉल्यूशन का जिक्र किया. उन्होंने कहा, 

“कोई भी बयानबाजी खून के धब्बे को ढंक नहीं सकती है. भारत दशकों से सीमा पार आतंकवाद का खामिजाया भुगतने के बाद जीरो टॉलरेंस की वकालत करता है. यूएनएससी में 1267 रिजॉल्यूशन व्यवस्था का राजनीतिकण किया जा रहा है.” 

विदेश मंत्री ने कहा कि रिजॉल्यूशन 1267 आईएसआईएल, अलकायदा से संबंधित किसी भी ग्रुप या व्यक्ति को किसी भी तरह से समर्थन देने वालों पर प्रतिबंध लगाता है. 

इस बीच एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र के सभी देशों को आतंक विरोधी समिति में शामिल होने के लिए बुलावा भी दिया. उन्होंने कहा, 

“भारत बड़ी जिम्मेदारी को निभाने के लिए तैयार है. भारत जी-20 की अध्यक्षता, आतंक से निपटने वाली कमेटी की अध्यक्षता करने जा रहा है. संयुक्त राष्ट्र के सभी सदस्य देशों को मुंबई और नई दिल्ली में आतंक विरोधी समिति में शामिल होने के लिए आमंत्रित करता हूं.” 

Russia-Ukraine War पर बोले जयशंकर 

एस जयशंकर ने रूस-यूक्रेन संघर्ष को लेकर कहा कि भारत सिर्फ बातचीत का पक्षधर है. उन्होंने शांति की अपील करते हुए कहा, 

“यूक्रेन संघर्ष को लेकर भारत का पक्ष हमेशा ईमानदार रहा है. भारत शांति का पक्षधर है और हमेशा इसका पैरोकार रहेगा. हम उस पक्ष में हैं जो बातचीत और कूटनीति को एकमात्र रास्ता बताता है. यूक्रेन संघर्ष का जल्द समाधान खोजने के लिए संयुक्त राष्ट्र के भीतर और बाहर दोनों जगह काम करना ही हमारे हित में है. आज दुनियाभर में अनाज और ऊर्जा पर आर्थिक दबाव को और बढ़ा दिया है."

China ने Pakistan का दिया था साथ

दरअसल चीन ने 15 सितंबर को UN में 26/11 के मुंबई आतंकी हमले के मेन हैंडलर साजिद मीर का बचाव करते हुए उसे ग्लोबल टेररिस्ट घोषित करने से बचा लिया. साजिद मीर के खिलाफ UN में अमेरिका ने ये प्रस्ताव पेश किया था, भारत इसमें सह-प्रस्तावक था. लेकिन चीन ने इसे पारित नहीं होने दिया. साजिद मीर लश्कर-ए-तैयबा का पाकिस्तानी आतंकी है.

भारत के इस मोस्ट वांटेड आतंकी साजिद मीर पर अमेरिका ने 5 मिलियन डॉलर का इनाम रखा है. अमेरिका के इस प्रस्ताव में आतंकी की संपत्ति फ्रीज करना, उस पर ट्रैवेल बैन लगाया यानी आने-जाने पर रोक लगाना और हथियार मिलने पर भी प्रतिबंध लगाना शामिल था.

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