पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) को भ्रष्टाचार मामले में दो हफ्ते के लिए जमानत मिल गई है. इस्लामाबाद हाई कोर्ट ने खान को अल-कादिर ट्रस्ट केस में जमानत दी है. यह फैसला तब आया है, जब एक दिन पहले सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट परिसर से इमरान खान की गिरफ्तारी को "अवैध" और "गैरकानूनी" बताया था. सुप्रीम कोर्ट ने इमरान खान को तुरंत रिहा करने का आदेश दिया था. गिरफ्तारी के बाद पूरे पाकिस्तान में इमरान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) के कार्यकर्ता प्रदर्शन कर रहे थे. 12 मई को भी कई जगहों पर प्रदर्शन हुए.
इमरान खान को हाई कोर्ट से भी बड़ी राहत, गुस्साए PM शहबाज ने जजों को सुना डाला
प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने इमरान खान को किसका 'लाडला' बताया?
पाकिस्तानी अखबार डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक, हाई कोर्ट ने 17 मई तक ऐसे किसी भी केस में इमरान खान को गिरफ्तारी से राहत दे दी है, जो इस्लामाबाद में 9 मई के बाद दर्ज हुए हैं. हाई कोर्ट जज ने इमरान खान से उनकी गिरफ्तारी के बाद हुई हिंसा की निंदा करने को भी कहा.
जमानत मिलने के बाद भी पीटीआई ने अपने कार्यकर्ताओं से लगातार शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने की अपील है. पीटीआई ने ट्विटर पर एक बयान जारी कर लिखा,
प्रधानमंत्री ने इमरान को 'लाडला' बता दिया"जब तक इमरान खान साहब सुरक्षित जगह नहीं पहुंच जाते, आप शांतिपूर्ण प्रदर्शन करते रहें. इस प्रदर्शन के दौरान शहीद हुए कार्यकर्ताओं को श्रद्धांजलि दी जाएगी. साथ ही इंसाफ लॉयर्स फोरम (पार्टी के वकीलों का संगठन) शहीद, गिरफ्तार या घायल हुए लोगों के केस में मदद करेगा."
सुप्रीम कोर्ट से राहत मिलने के बाद पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने यह कुछ और नहीं बल्कि NRO (समझौता अध्यादेश) है. डॉन के मुताबिक, कैबिनेट को संबोधित करते हुए शहबाज शरीफ ने कहा कि अगर आप इस "लाडला" का पक्ष लेते रहेंगे तो फिर आपको जेल में बंद देश के सभी डकैतों को रिहा कर देना चाहिए. प्रधानमंत्री ने कहा कि फिर तो इसे सबके लिए लागू कर दो. उन्होंने कहा कि इसका परिणाम सभी को भुगतना पड़ेगा. शहबाज शरीफ ने आगे कहा,
"पीटीआई के प्रदर्शनकारियों ने देश के शहीदों का इस तरह अपमान किया जैस 'हमारे दुश्मनों' ने भी नहीं किया. हमारे सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमले हुए... देश में इससे बड़ा आतंकवाद नहीं हो सकता है."
इससे पहले 11 मई को पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने गिरफ्तारी को अवैध बताते हुए इमरान खान को तत्काल रिहा करने का आदेश दिया था. कोर्ट ने कहा था कि इमरान खान के साथ जो हुआ, वो न्याय नहीं था. इस मामले की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने एक आदेश ये भी दिया था कि कोर्ट परिसर से किसी को भी गिरफ्तार नहीं किया जा सकता है.
9 मई को इमरान खान की गिरफ्तारी के बाद पूरे देश में पीटीआई कार्यकर्ताओं ने खूब बवाल किया. इस हिंसक प्रदर्शन में कम से कम आठ लोगों की मौत हुई और 200 से ज्यादा लोग घायल हुए. देश में मोबाइल इंटरनेट और बड़े सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म जैसे ट्विटर, फेसबुक और यूट्यूब पर अब भी प्रतिबंध लगा हुआ है.
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