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मुंबई: PM मोदी का स्वागत करने पहुंचे थे आदित्य ठाकरे, SPG ने कहा- कार से उतरो

पीएम की अगवानी करने के लिए राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी और सीएम उद्धव ठाकरे के अलावा आदित्य ठाकरे भी पहुंचे थे

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आदित्य ठाकरे का कंधा थपथपाते पीएम मोदी (फोटो: पीटीआई)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) मंगलवार, 14 जून को महाराष्ट्र के पुणे पहुंचे. जहां उन्होंने तुकाराम मंदिर का उद्घाटन किया. इसके बाद वे राजभवन में होने वाले एक कार्यक्रम में शामिल होने मुंबई पहुंचे. प्रधानमंत्री के स्वागत के लिए राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी, सीएम उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) और पर्यटन मंत्री आदित्य ठाकरे (Aaditya Thackeray) एयरपोर्ट पर मौजूद थे. इससे पहले कि आदित्य ठाकरे पीएम मोदी का स्वागत कर पाते उन्हें पीएम की सुरक्षा में तैनात एसपीजी के जवानों ने रोक लिया.

आदित्य ठाकरे को क्यों रोका? 

आजतक से जुड़े ऋत्विक भालेकर की रिपोर्ट के मुताबिक पीएम नरेंद्र मोदी का प्लेन कोलाबा के आईएनएस शिखर बेस पर लैंड होना था. उन्हीं के स्वागत के लिए सीएम उद्धव ठाकरे अपने बेटे आदित्य के साथ पहुंचे थे. बताते हैं कि महाराष्ट्र के सीएम की गाड़ी जैसे ही शिखर बेस पर पहुंची तो वहां तैनात एसपीजी के जवानों ने कार की चेकिंग की और कार में बैठे आदित्य ठाकरे को नीचे उतार दिया. एसपीजी के मुताबिक पीएम मोदी का स्वागत करने वाले वीआईपी लोगों की लिस्ट में आदित्य ठाकरे का नाम नहीं था. और इसीलिए उन्हें नीचे उतारने के लिए कहा गया.  

एसपीजी के इस व्यवहार से उद्धव ठाकरे काफी नाराज हुए. उन्होंने एसपीजी अधिकारियों को समझाते हुए कहा कि आदित्य सिर्फ उनके बेटे के रूप में नहीं, बल्कि राज्य के मंत्री हैं और प्रोटोकॉल के तहत पीएम का स्वागत करने के लिए आए हैं. इसके बाद एसपीजी ने आदित्य ठाकरे को पीएम मोदी का स्वागत करने की इजाज़त दी.

अजीत पवार को नहीं पूछा!

मंगलवार को ही पुणे के देहू में आयोजित्त कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस और महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार मंच पर बैठे थे. यहां पीएम के भाषण के बाद देवेंद्र फडणवीस ने मंच से भाषण दिया, लेकिन अजित पवार को भाषण देने के लिए नहीं बुलाया गया. इसी को लेकर विवाद हो गया. एनसीपी की सांसद सुप्रिया सुले ने इसे महाराष्ट्र का अपमान बताया. वहीं, एनसीपी के कार्यकर्ताओं ने केंद्र सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. इस मामले पर अभी तक भाजपा और केंद्र की ओर से कोई जवाब नहीं आया है.