ऑल्ट न्यूज (Alt News) के को-फाउंडर और पत्रकार मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी पर तेजी से राजनीतिक प्रतिक्रियाएं आ रही हैं. मोहम्मद जुबैर को दिल्ली पुलिस ने कथित तौर पर धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के आरोप में गिरफ्तार किया है. ये खबर आते ही कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इस कार्रवाई की आलोचना की है. राहुल गांधी ने ट्वीट कर लिखा,
‘बीजेपी की नफरत, कट्टरता और झूठ को उजागर करने वाला हर शख्स उनके लिए खतरा है. सत्य की एक आवाज को गिरफ्तार करने से केवल एक हजार और पैदा होंगे.’
ट्वीट के साथ राहुल गांधी ने #DaroMat भी दिया है.
राहुल के अलावा देश के दूसरे बड़े और चर्चित नेताओं ने भी मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है. AIMIM के प्रमुख और सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने ट्वीट कर कहा,
‘मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी अत्यंत निंदनीय है. उन्हें बिना किसी नोटिस के किसी अज्ञात FIR के तहत गिरफ्तार किया गया है. ये पूरी तरह प्रक्रिया का उल्लंघन है. दिल्ली पुलिस मुस्लिम विरोधी नरसंहार के नारे लगाने वालों के खिलाफ कोई कदम नहीं उठाती है, लेकिन हेट स्पीच की रिपोर्टिंग करने के 'क्राइम' और मिस इंफॉर्मेशन का मुकाबला करने वालों के खिलाफ तेजी से कार्रवाई करती है.’
वहीं TMC सांसद महुआ मोइत्रा ने भी मामले पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा,
‘दिल्ली पुलिस पिछड़े लोगों को परेशान और साहबों को खुश करने का काम कर रही है. बिना नोटिस दिए एक फ़र्ज़ी केस में जुबैर को गिरफ्तार किया गया है जबकि हाई कोर्ट ने उन्हें प्रोटेक्शन दिया हुआ है. वहीं ‘फ्रिंज शर्मा’ को टेक्स पेयर के पैसों से सुरक्षा मिली हुई है.’
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने ट्विटर पर लिखा,
'अच्छे नहीं लगते हैं उन झूठ के सौदागरों को सच की पड़ताल करने वाले… जिन्होंने अपनी आस्तीन में हैं पाले, नफ़रत का ज़हर उगलने वाले.'
वहीं जुबैर अहमद के साथी और ऑल्ट न्यूज के को-फाउंडर प्रतीक सिन्हा ने आरोप लगाया है कि जुबैर को किसी अनजान जगह ले जाया जा रहा है. प्रतीक ने ट्विटर पर लिखा है,
'मेडिकल जांच के बाद जुबैर को किसी अज्ञात जगह पर ले जाया जा रहा है. न तो जुबैर के वकीलों और न ही मुझे बताया जा रहा है कि उन्हें कहां लेकर जा रहे हैं. हम उनके साथ पुलिस वैन में हैं. किसी भी पुलिस वाले ने नाम का टैग नहीं लगाया हुआ है.'
दिल्ली पुलिस ने क्या बताया?
जुबैर की गिरफ्तारी किस मामले में हुई है, इसे लेकर कन्फ्यूजन बना हुआ है. अलग-अलग रिपोर्टों के मुताबिक जुबैर को जिस एफआईआर नंबर 194/20 के तहत गिरफ्तार किया गया है, उसमें तो उन्हें हाई कोर्ट से सुरक्षा मिली हुई है. वहीं पुलिस कह रही है कि उसने अलग मामले में ऑल्ट न्यूज के को-फाउंडर को गिरफ्तार किया है. इंडिया टुडे/आजतक की रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली पुलिस ने अपने आधिकारिक बयान में कहा है कि जुबैर की गिरफ्तारी एक अलग एफआईआर नंबर 172/22 के तहत हुई है. उसका कहना है कि ये एफआईआर जुबैर के 2018 के एक ट्वीट के संबंध में है, जिसे लेकर इसी महीने शिकायत दर्ज कराई गई थी.
इस ट्वीट में जुबैर ने एक तस्वीर पोस्ट की थी और कैप्शन दिया था- हनीमून होटल. 2014 के बाद. हनुमान होटल.
इंडिया टुडे की खबर के मुताबिक एक ट्विटर हैंडल द्वारा इस ट्वीट को लेकर पुलिस को अलर्ट किया गया था. पुलिस का कहना है कि उसने पोस्ट की जांच की है और इसमें इस्तेमाल की गई तस्वीर और शब्द एक धर्म विशेष के खिलाफ हैं. पुलिस के मुताबिक जानबूझकर डाला गया ये पोस्ट काफी ज्यादा भड़काऊ था, जिससे लोगों में नफरत पैदा हो सकती है.
आजतक की श्रेया चटर्जी की रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल से जुड़े अधिकारियों ने बताया कि इस नए केस में पर्याप्त सबूत होने के बाद ही मोहम्मद जुबैर को दिल्ली से गिरफ्तार किया गया है. बताया जा रहा है कि मोहम्मद जुबैर को दिल्ली पुलिस की IFSO यूनिट ने सेक्शन 153 और 295A के तहत गिरफ्तार किया है. उन पर सोशल मीडिया के जरिए धार्मिक भावनाएं भड़काने के आरोप लगे हैं. कहा जा रहा है कि पुलिस जुबैर को मजिस्ट्रेट के सामने पेश करने जा रही है ताकि पूछताछ के लिए उनकी कस्टडी मांगी जा सके.