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सजा हुई, सांसदी भी गई, लेकिन ये 6 केस राहुल को अभी और मुश्किल में डाल सकते हैं

राहुल गांधी पर 6 और केस चल रहे हैं.

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राहुल गांधी. (इंडिया टुडे)

राहुल गांधी को मानहानि के मुकदमें में दो साल की सजा हुई और 24 मार्च को उनकी लोकसभा सदस्यता चली गई. कांग्रेस लड़ाई को आगे ले जाने की बात कह रही है. लेकिन ये सिर्फ ये एक केस था. राहुल पर अभी मानहानि के 6 और मुकदमें कोर्ट में चल रहे हैं. किसी भी केस में सजा होती है तो राहुल की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. ये 6 मामले हैं कौन से जो राहुल गांधी को दिक्कत में डाल सकते हैं.

# "RSS के आदमी ने गांधी को मारा"

ये मामला 2014 का है. 6 मार्च को राहुल गांधी महाराष्ट्र के ठाणे में चुनावी रैली को संबोधित कर रहे थे. बिज़नेस स्टैंडर्ड की खबर के मुताबिक रैली में राहुल ने कहा- 

"RSS के लोगों ने ही महात्मा गांधी की हत्या की और आज उनके लोग (BJP) गांधी की बात करते हैं. इन लोगों ने महात्मा गांधी और सरदार पटेल का विरोध किया था "

इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक महाराष्ट्र के भिवंडी में RSS के सेक्रेटरी ने राहुल गांधी के इस बयान के खिलाफ मानहानि मुकदमा दायर किया था. इस मामले में जून 2018 में भिवंडी की अदालत में राहुल गांधी पर धाराएं लगाई गईं. हालांकि इस केस में अभी ट्रायल शुरू नहीं हुआ है.

#असम में मानहानि का मुकदमा

इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक दिसंबर 2015 में, राहुल गांधी ने असम में एक बयान दिया कि उन्हें असम में 16वीं शताब्दी के वैष्णव मठ सतरा, बारपेटा में घुसने नहीं दिया गया. राहुल के इस बयान पर RSS के एक स्वयं सेवक ने उनपर आपराधिक मानहानि का मुकदमा दर्ज कराया. 2015 में ही राहुल असम स्थानीय अदालत में पेश हुए और उन्हें जमानत भी मिल गई थी.

खबर के मुताबिक राहुल के वकील ने बताया है कि केस अभी चल रहा है. इसकी सुनवाई एडिश्नल चीफ जूडीशियल मजिस्ट्रेट की अदालत में चल रही है.

#नोटबंदी पर बयान दिया था

22, जून 2018 को राहुल गांधी ने एक ट्वीट किया. ट्वीट नोटबंदी पर था और निशाना अमित शाह पर. राहुल ने लिखा-

अहमदाबाद की सहकारी बैंक के निदेशक अमित शाह को बधाई. आपके बैंक ने पुराने नोटों को बदलने मेें प्रथम पुरस्कार जीता है. 5 दिन में 750 करोड़. नोटबंदी से तबाह हुए करोड़ो भारतीय, आपकी इस उपलब्धि को सलाम करते हैं.

इस ट्वीट में राहुल गांधी ने हैशटैग लगाया- #ShahZyadaKhaGaya.

इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक राहुल के ट्वीट के करीब 10 महीने बाद बैंक और उसके चेयरमैन ने राहुल गांधी पर क्रिमिनल डेफेमेशन केस दायर कर दिया. इस केस में राहुल गांधी को जुलाई 2019 में जमानत मिल गई थी. केस अभी भी चल रहा है.

#"कमांडर-इन-थीफ"

राहुल गांधी का एक बयान वायरल हुआ था जिसमें उन्होंने कहा था- कमांडर-इन-थीफ. राहुल ने ये बयान 2018 में राजस्थान में एक रैली के दौरान दिया था. मामला राफेल से जुड़ा था और निशाने पर थे पीएम मोदी. इस बयान पर बीजेपी कार्यकर्ता महेश श्रीश्रीमल ने राहुल के खिलाफ मानहानि का मुकदमा कर दिया था. इंडिया टुडे की खबर के मुताबिक इस मामले में जुलाई 2022 में बॉम्बे हाई कोर्ट ने राहुल गांधी की अंतरिम जमानत बढ़ा दी थी.

#गौरी लंकेश हत्या केस

गौरी लंकेश की हत्या के बाद राहुल गांधी ने बयान दिया था. 2019 में महाराष्ट्र के RSS कार्यकर्ता और वकील धृतिमान जोशी ने ये मामला दर्ज कराया था. जोशी ने अपनी शिकायत में कहा- गौरी लंकेश की हत्या के 24 घंटे के भीतर राहुल गांधी ने रिपोर्टर से कहा- 

जो भी बीजेपी की विचारधारा के खिलाफ बोलेगा, जो भी RSS की विचारधारा के खिलाफ बोलेगा उसपर दबाव बनाया जाता है, पीटा जाता है, यहां तक की मार दिया जाता है.

इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक धृतिमान ने CPM नेता सीताराम येचुरी के खिलाफ भी केस किया था. 2019 में ही इस मामले में मुंबई की एक अदालत ने केस को खारिज करने से मना कर दिया था.

# अमित शाह को हत्या का आरोपी बताया

अहमदाबाद के एक बीजेपी नेता कृष्णवदन ब्रह्मभट्ट ने मई 2019 में राहुल के खिलाफ जबलपुर में केस दर्ज कराया था. 2019 में लोकसभा चुनाव प्रचार भाषण के दौरान राहुल गांधी ने कथित रूप से अमित शाह को "हत्या का आरोपी" बताया था. ब्रह्मभट्ट ने राहुल की टिप्पणी को "अपमानजनक" बताया. उन्होंने कहा- शाह को 2015 में सोहराबुद्दीन शेख फर्जी मुठभेड़ मामले में बरी कर दिया गया था. अक्टूबर 2019 में, राहुल को इस मामले में अहमदाबाद की एक अदालत ने जमानत दे दी थी. 

वीडियो: राहुल गांधी का 10 साल पहले फाड़ा अध्यादेश अब क्या नुकसान करवा रहा?