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CM योगी की सभा में आए बुलडोजरों का चालान होगा?

हाथ में भगवा झंडा लिए बुलडोजर के लोडर बकेट पर पांच-पांच लोग खड़े थे.

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मऊ में सीएम योगी की जनसभा से पहले बुलडोजर पर खड़े समर्थक (फोटो: आजतक)

उत्तर प्रदेश के मऊ में 3 मई को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एक चुनावी जनसभा के लिए पहुंचे. सभा में CM योगी पहुंचते, इससे पहले ही उनके कुछ समर्थक बुलडोजर लेकर पहुंच गए. इसके कई वीडियोज सामने आए हैं. 'बुलडोजर बाबा' के समर्थक बुलडोजर पर ही खड़े दिखाई दिए. हाथ में भगवा झंडा लिए बुलडोजर के लोडर बकेट (जो आगे फावड़ा लगा होता है) पर पांच-पांच लोग खड़े थे. इस तरह बुलडोजर लेकर आना न सिर्फ यातायात के नियमों का उल्लंघन है, बल्कि ये खतरनाक भी है. 

ट्विटर पर एक यूजर ने जो वीडियो शेयर किया है, वो और भी खतरनाक दिख रहा है. बीच सड़क पर बुलडोजर दौड़ रहा है और उसी दौरान लोडर बकेट पर लोग भी खड़े हैं. यूजर ने वीडियो शेयर करते हुए लिखा,

“बाबा के स्वागत में मऊ की धरती...”

आजतक के दुर्गा किंकर सिंह की रिपोर्ट के मुताबिक मऊ में CM योगी के जनसभा स्थल पर चार बुलडोजर पहुंचे थे. बुलडोजर पर कई बैनर भी लगे थे. एक बैनर पर लिखा था,

"माफिया को मिट्टी में मिलाने वाला यंत्र, बुलडोजर बाबा की जय"

दूसरे बैनर पर लिखा था,

"बाबा चाप रहे हैं, माफिया हांफ रहे हैं"

इस सबके बाद जब CM योगी पहुंचे, उन्होंने चुनावी जनसभा को संबोधित किया. क्या कहा? वो आप यहां सुन सकते हैं.

बुलडोजर पर चलने वालों का चालान हो जाता है

आप पूछ सकते हैं कि सभा में बुलडोजर ले आने में समस्या क्या है और ये खतरनाक कैसे है? तो जवाब सुनिए. बुलडोजर कोई सवारी वाहन नहीं है. इसका इस्तेमाल कंस्ट्रक्शन से जुड़े कामों में होता है. आपने बुलडोजर को कई बार किसी अवैध निर्माण को जमींदोज करते देखा होगा. अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई के दौरान बुलडोजर देखा होगा. बुलडोजर को इसी तरह के कामों में इस्तेमाल किया जाता है. 

क्योंकि बुलडोज़र के लोडर बकेट को लोगों की सवारी के लिए बनाया नहीं गया है, इसीलिए इसपर सवार शख्स अचानक ब्रेक लगने पर गिर भी सकता है. वहीं भीड़ के बीच बुलडोज़र से किसी दूसरे को चोट भी लग सकती है. और ये बात पुलिस-प्रशासन भी समझते हैं. हम आपको दो मिसालें दे सकते हैं, जब बुलडोजर के ऐसे इस्तेमाल पर पुलिस ने बाकायदा चालान काटा.

जून 2022 की घटना है. मध्य प्रदेश के बैतूल में बुलडोजर पर बारात निकालने का मामला सामने आया था. यहां दूल्हा घोड़ी या बग्गी पर नहीं चढ़ा था, बल्कि बुलडोजर के आगे लगे बकेट पर बैठकर शादी के लिए निकला था. इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ. फिर पुलिस एक्शन में आई, चालक के खिलाफ 5 हजार का चालान लगाया. पुलिस ने कहा था कि बुलडोजर पब्लिक ट्रांसपोर्ट के लिए नहीं होता है.

इसी तरह इस साल जनवरी में यूपी के संभल में बुलडोजर पर सवारियां ले जाने का मामला सामने आया था. इस मामले में भी यातायात पुलिस प्रभारी ने बुलडोजर का चालान काटा था. अब सवाल ये है कि मऊ में CM योगी के लिए समर्थन दिखाने के नाम पर बुलडोजर का जो इस्तेमाल किया गया, उसके खिलाफ कोई कार्रवाई होगी. क्या CM योगी की सभा में बुलडोजर लाने वालों का चालान कटेगा?

नोटः हम जानते हैं कि जिस जीव की यहां बात हो रही है, उसका सही नाम है बैकहो-लोडर. लेकिन आम बोलचाल में जेसीबी मशीन (एक चर्चित कंपनी के नाम पर) और राजनीति की भाषा में इसे बुलडोजर ही बोला जाता है.

वीडियो: मुख्तार अंसारी के बेटों के घर बुलडोजर चला, प्रशासन क्या बोला?